DM Dehradun बच्चे भविष्य का आधार हैं और समाज को सभ्य और मानवीय संवेदना से समृद्ध बनाने के लिए ज़रूरी है कि शोषितों वंचितों को मुख्य धारा से जोड़ा जाये। इसी उद्देश्य को हासिल करने के लिए मुख्यमंत्री धामी के निर्देशन में जिलाधिकारी सविन बंसल के नेतृत्व में जिला प्रशासन ने बाल भिक्षावृत्ति, बाल मजदूरी से रेस्क्यू किए जा रहे बच्चों के मन रिफॉर्म हेतु आधुनिक इंटेंसिव केयर सेंटर बनाया गया है, जहां से बच्चों को शिक्षा की मुख्य धारा से जोड़ा जा रहा है। जो समाज में बड़े बदलाव का उदाहरण बन गया है। डीएम बंसल की इस पहल की मुख्यमंत्री धामी ने भी सराहना करते हुए बदलाव की एक बड़ी पहल बताई है।
इंटेंसिव केयर सेंटर निखार रहा घुमतू बच्चे का जीवन DM Dehradun
इस सकारात्मक सोच और कल्याणकारी बदलाव पर मुख्यमंत्री धामी ने कहा कि देहरादून में बाल भिक्षावृत्ति निवारण के लिए भी एक विशिष्ट प्रयास किया जा रहा है, जिसके माध्यम से बालक-बालिकाओं को “भिक्षा की विवशता से निकालकर शिक्षा के अधिकार” से जोड़ा जाएगा। इस कार्यक्रम के अंतर्गत 3 रेस्क्यू वाहनों के साथ अंतरविभागीय टीम गठित की गई है। होमगार्ड, चाइल्ड हेल्पलाइन, शिक्षा विभाग, श्रम विभाग, पुलिस विभाग और कई गैर-सरकारी संस्थाओं को इस टीम में सम्मिलित किया गया है।
जिला प्रशासन की टीम द्वारा टीम द्वारा पहले चरण में 51 बच्चों को रेस्क्यू कराकर विभिन्न स्कूलों में डाला जा चुका है। दूसरे चरण में 31 बच्चों को राजकीय प्राथमिक विद्यालय परेड ग्राउंड और साधूराम इंटर कॉलेज में दाखिला दिलाया गया है।हम रेस्क्यू किए बच्चों के लिए डेढ़ करोड़ रुपए से अधिक की लागत से साधूराम इंटर कॉलेज में इंटेसिव केयर सेंटर का निर्माण भी करा रहे हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि हम इस प्रयास को तब तक जारी रखेंगे, जब तक हमारे राज्य का प्रत्येक बच्चा स्कूल नहीं जाने लगता।