Amer fort : हिंदुस्तान का पेरिस है आमेर शहर

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Amer fort जब घूमने की बात आती है तो हिंदुस्तान के कई ऐसे शहरों के नाम दिमाग में आते हैं, जो पर्यटन के लिहाज से बहुत अच्छे हैं. लेकिन, जब बात विदेशी शहरों में घूमने की आती है तो लोगों का दिल कुछ खास नामों पर अटक जाता है.आपको जानकर आश्चर्य हो सकती है कि जयपुर को हिंदुस्तान का पहला नियोजित शहर बोला जा रहा है. लेकिन यह सच है. यह शहर 18 नवंबर 1727 को बसाया गया था. इसे आमेर के राजा महाराजा जय सिंह द्वितीय ने बसाया था. इसीलिए उनके नाम पर इस शहर का नाम जयपुर रखा गया. उस समय इस शहर को पूरी तरह से बसाने में राजा जय सिंह को 4 वर्ष लग गये थे। राज जय सिंह द्वारा बसाने के बाद इस शहर को आमेर की राजधानी बनाया गया.

 

शहर 18 नवंबर 1727 को बसाया गया  Amer fort

आमेर आज भी जयपुर से कुछ दूरी पर स्थित है, आमेर का एक बहुत बड़ा किला भी है, बोला जाता है कि अकबर की रानी जोधाबाई का जन्म इसी किले में हुआ था. इतिहास पर अध्ययन करने से पता चलता है कि राजा जय सिंह ने इस शहर को बसाने के लिए बंगाली वास्तुकार विद्दाधर भट्टाचार्य से डिजाइन बनवाया था. भट्टाचार्य आमेर दरबार में नायब दरोगा के पद पर थे. लेकिन वास्तुकला में उनका ज्ञान बहुत अच्छा था और उनकी रुचि देखकर राजा जय सिंह ने भट्टाचार्य से जयपर शहर की योजना बनाई. उनकी योग्यता से प्रभावित होकर महाराजा जयसिंह ने उन्हें अपनी नयी राजधानी जयपुर का नगर योजनाकार बना दिया.

शहर बसाते समय किन बातों का ध्यान रखा गया ?

इस नगर को बसाते समय राजा ने वर्षा के जल को एकत्र करने और निकालने की मुनासिब प्रबंध की थी. यह प्रबंध आज भी अधिकतर शहरों में देखने को नहीं मिलती. इसके साथ ही वास्तु के मुताबिक राजा ने इस शहर से बाहर निकलने के लिए कई दरवाजे भी बनवाए थे. आज जयपुर एक पर्यटन स्थल बन गया है. तीन तरफ अरावली पर्वतों से घिरे इस शहर को गुलाबी शहर बोला जाता है.

इसका कारण यह है कि वर्ष 1876 में महाराजा सवाई रामसिंह ने इंग्लैंड की महारानी एलिजाबेथ और प्रिंस ऑफ वेल्स प्रिंस अल्बर्ट के स्वागत के लिए पूरे शहर को गुलाबी रंग से सजाया था. तभी से इस शहर को गुलाबी नगर के नाम से पुकारा जाने लगा. इस शहर को हिंदुस्तान का पेरिस भी बोला जाता है.

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