देहरादून से अनीता आशीष तिवारी की रिपोर्ट –
Dhami Mission Moon मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि मिशन चंद्रयान-3 से जुड़े हमारे वैज्ञानिकों ने सिद्ध कर दिया है कि मनुष्य अनंत ऊर्जा का भण्डार तथा असीम क्षमतावान है। उन्होंने कहा कि अब चन्दा मामा दूर के नहीं because अब वो हमारे पास के, हमारे घर के हो गये है। मुख्यमंत्री ने कहा कि जिस दिन यह इतिहास बना उस दिन स्कूली बच्चों के साथ वे इसके साक्षी बने थे। although हालाँकि यह भी कारण रहा कि चाहते हुए भी वे उस दिन इस संस्थान में आकर वैज्ञानिकों से नहीं मिल पाये।
मिशन चंद्रयान से उत्साहित है उत्तराखंड Dhami Mission Moon

दरअसल actually इण्डियन इंस्टीट्यूट ऑफ रिमोट सेंसिंग (आई.आई.आर.एस) में मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने इस संस्थान के साथ ही देहरादून एवं मसूरी स्थित केन्द्र एवं राज्य के विभिन्न वैज्ञानिक एवं तकनीकि संस्थानों के वैज्ञानिकों से संवाद कर उन्हें सम्मानित भी किया। इस अवसर पर मुख्यमंत्री युवा वैज्ञानिकों से भी संवाद कर उनसे भी विचार साझा किये। मुख्यमंत्री ने संस्थान परिसर में पौधरोपण भी किया।
मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के मार्गदर्शन तथा हमारे वैज्ञानिकों के अथक प्रयासों से हमारे देश ने दुनिया में पहचान बनाई है। उन्होंने प्रधानमंत्री द्वारा 23 अगस्त को नेशनल स्पेस डे मनाने, चंद्रयान-3 के लैंडिंग स्थल को शिवशक्ति प्वांइट तथा चंद्रयान 2 से जुड़े स्थल को तिरंगा प्वाइंट बताये जाने के लिए भी आभार जताया।
मुख्यमंत्री ने सभी वैज्ञानिक संस्थानों से अपेक्षा की कि वे हमारे उदीयमान विद्यार्थियों को अपने संस्थानों की कार्यप्रणाली से परिचित कराने की भी योजना बनाए। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य के विकास में विज्ञान एवं अनुसंधान के समन्वय का हमारा प्रयास है। क्योंकि because हमारे वैज्ञानियों के विचार राज्य के विकास एवं हिमालयी राज्यों की आपदा की चुनौतियों का सामना करने में मददगार हो सकते है। मुख्यमंत्री ने कहा कि इकोलॉजी, इकोनॉमी, टैक्नोलॉजी, एकाउंटिबिलिटी और सस्टेनबिलिटी के पाँच सशक्त स्तंभों पर व्यवस्थित मॉडल हमारे उत्तराखण्ड @25 के संकल्प के लिए आवश्यक है।
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